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- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
किसी चीज़ को मनहूस –अशुभ- समझना या उस से अपशकुन और बदफाली लेना जाहिलियत –अज्ञानता- के युज्ञ की परंपराओं में से है, जिसका इस्लाम ने खण्डन किया है और उसे अल्लाह पर दृढ़ विश्वास,संपूर्ण तवक्कुल व भरोसा के विरुद्ध घोषित किया है। जाहिलियत के समय के अरब जिन चीज़ों से अपशकुन लिया करते थे उन्हीं मे से एक इस्लामी केलेण्डर के द्वितीय मास सफर से अपशकुन लेना है,जिसका प्रभाव किसी न किसी रूप में आज तक के मुसलमानों में भी दिखायी देता है। इस लेख में इस्लामी दृश्य से इस पर प्रकाश डाला गया है।
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
उमर फारूक़ रज़ियल्लाहु अन्हु के जीवन की कुछ झलकियाँ : उमर फारूक़ रज़ियल्लाहु अन्हु ही वह दूसरे व्यक्ति है जिनका पैग़म्बर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने अपने पश्चात अनुसरण करने का आदेश दिया था। अबू बक्र सिद्दीक़ रज़ियल्लाहु अन्हु ने अपने बाद आप को ख़लीफा नामज़द किया। आप के शासन काल में अनेक प्राथमिकताएं जन्मित हुईं और बाहुल्य रूप से फुतूहात हुईं। रूम व फारिस के देश आप के कार्यकाल में पराजित किए गए और उसके खजाने आप के पास लाए गए, किन्तु आप के कपड़े पर 10 से अधिक पैवंद लगे होते थे। आप के जीवन के विषय में अधिक जानकारी के लिए यह लेख पढ़िए ।
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह लेखक : रिसर्च डिवीज़न दारुल-क़ासिम अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
इस लेख में मुहर्रम के महीने और विशिष्ट रूप से उसकी दसवीं तारीख (आशूरा के दिन) की फज़ीलत, महत्व और उस दिन रोज़ा रखने के अज्र व सवाब और प्रतिफल का उल्लेख किया गया है। साथ ही साथ आत्म-निरीक्षण (नफ्स के मुहासबा) के महत्व को स्पष्ट किया गया है, विशेषकर नये वर्ष के प्रारम्भ पर।
- हिन्दी लेखक : सईद बिन अली बिन वहफ अल-क़हतानी अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
हज्ज और उम्रा की फज़ीलतः हज्ज इस्लाम का एक महान स्तम्भ है जिसकी प्रतिष्ठा महान, जिसका अज्र व सवाब बहुत अधिक और मक़्बूल हज्ज का बदला तो केवल जन्नत ही है। इस लेख में सहीह हदीसों में वर्णित उन फज़ाइल और अज्र व सवाब का उल्लेख किया गया जो एक हज्ज और उम्रा करने वाले को प्राप्त होते हैं, इस शर्त के साथ कि उसके अन्दर उसकी स्वीकृति की शर्तें पूरी हों अर्थात् अल्लाह के लिए इख़्लास और पैग़म्बर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम का अनुसरण।
- हिन्दी लेखक : सईद बिन अली बिन वहफ अल-क़हतानी अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
हज्ज में प्रतिनिधित्वः या किसी अन्य की ओर से हज्ज करना, उन मसाइल में से है जिस के बारे में बाहुल्य रूप से प्रश्न किया जाता है। यह एक शरई हुक्म है जिसके कुछ शुरूत हैं जिनकी पूर्ति करना, और कुछ नियम हैं जिनका पालन करना और कुछ आदाब –शिष्टाचार- हैं जिन से सुसज्जित होना आवश्यक है। इस लेख में उक्त तत्वों को स्पष्ट करने का प्रयास किया गया है।
- हिन्दी लेखक : सईद बिन अली बिन वहफ अल-क़हतानी अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
हज्ज और उम्रा की अनिवार्यता की शर्तेः इस लेख में उन शर्तों का उल्लेख किया गया है जिन के कारण हज्ज और उम्रा अनिवार्य हो जाता है, ये पाँच शर्तें हैः इस्लाम, बुद्धि, व्यस्कता़, सम्पूर्णतः आज़ादी और सामर्थ्य, तथा महिला के लिए एक अन्य विशिष्ठ शर्त उसके साथ महरम का होना है। जब ये सभी शर्तें किसी व्यक्ति के अन्दर पाई जाएं तो उस पर तुरन्त हज्ज करना अनिवार्य हो जाता है। यदि वह किसी स्थायी बीमारी, या शारीरिक विकलांगता के कारण स्वयं हज्ज करने से असमर्थ है, तो किसी अन्य व्यक्ति को, जो पहले अपना हज्ज कर चुका हो, अपनी ओर से हज्ज करने के लिए प्रतिनिधि बनाए गा।
- हिन्दी लेखक : सईद बिन अली बिन वहफ अल-क़हतानी अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
हज्ज और उम्रा की अनिवार्यताः हज्ज एक महान इबादत है जिसे अल्लाह तआला ने अनिवार्य किया है और उसे उन पाँच स्तम्भों में से एक स्तम्भ क़रार दिया है जिन पर इस्लाम धर्म का आधार है। इस लेख में क़ुर्आन व हदीस की दलीलों और इज्माअ की रौशनी में यह उल्लेख किया गया है कि हज्ज और उम्रा समर्थ व्यक्ति पर जीवन में एक बार अनिवार्य है।
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
अबू बक्र सिद्दीक़ रज़ियल्लाहु अन्हु के जीवन की कुछ झलकियाँ : अबू बक्र सिद्दीक़ रज़ियल्लाहु अन्हु पैग़म्बर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम के पश्चात इस उम्मत के सर्वश्रेष्ठ व्यक्ति हैं। आजीवन पैग़म्बर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम के संगत में रहे और आप सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम के स्वर्गवास के बाद आप के उत्तराधिकारी -खलीफा- बनाए गए। आप के गुण-विशेषण क्या हैं\ आप के शासन काल की क्या प्राप्तियाँ हैं\ संछिप्त में पढ़िए गा इस लेख में।
- हिन्दी लेखक : एहसान अल-उतैबी अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
नीयतों को संग्रह करनाः एक ही काम में कई चीज़ की नियतों करने का मस्अला बहुत महत्वपूर्ण है, जिसके विषय में अधिकांश लोग प्रश्न करते रहते हैं। इस लेख में नीयतों को संग्रह करने अथवा न करने का आधार बयान किया गया है।
- हिन्दी मुफ्ती : स्थायी समिति वैज्ञानिक अनुसंधान, इफ्ता, दावत एंव निर्देश अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
ईदैन की नमाज़ की क़ज़ाः इस फत्वे में ईद की नमाज़ का हुक्म उल्लेख करते हुए यह स्पष्ट किया गया है कि यदि किसी आदमी से ईद की नमाज़ छूट जाए, तो उसे क्या करना चाहिए।
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
ज़कातुल-फित्र के अहकामः रमज़ान के महीने की समाप्ति अल्लाह के पैग़म्बर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने मुसलमानों पर ज़कातुल-फित्र निकालना अनिवार्य किया है। इस लेख में ज़कातुल-फित्र के अहकाम संछिप्त रूप में वर्णन किए गए हैं।
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
लैलतुल क़द्र - एक महानतम रातः साल भर की रातों में श्रेष्ठतम और महानतम रात जिस में अल्लाह तआला ने अगना उत्तम कलाम क़ुर्आन अपने श्रेष्ठतम पैग़म्बर पर अवतरित किया, एक ऐसी रात जो 83 वर्ष से भी अधिक उच्चतर। आईये, खोजें कौन सी है यह रात और कैसे प्राप्त करें इसका सौभाग्य
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
एतिकाफ के इच्छुकों के लिए एक लाभप्रद और महत्वपूर्ण लेखः इस लेख में एतिकाफ का अर्थ, उसकी वैद्धता, उसका हुक्म़, उसकी फज़ीलत, उसका समय एंव स्थान, उसकी शर्तों, उसके उद्देश्य और उस से प्राप्त होने वाले लाभ का उल्लेख किया गया है।
- हिन्दी लेखक : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
इस लेख में उल्लेख किया गया है कि एक मुसलमान को रमज़ान जैसे महान और शुभ महीने का स्वागत किस प्रकार करना चाहिए और किस तरह इस से लाभ उठाना चाहिए।
- हिन्दी मुफ्ती : मुहम्मद बिन सालेह अल-उसैमीन अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह संशोधन : शफीक़ुर्रहमान ज़ियाउल्लाह मदनी प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
क्या रमज़ान में क़ियामुल्लैल की कोई निश्चित संख्या है या नहीं?
- हिन्दी मुफ्ती : मुहम्मद बिन सालेह अल-उसैमीन अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह संशोधन : शफीक़ुर्रहमान ज़ियाउल्लाह मदनी प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
मुसाफिर की नमाज़ और उस का रोज़ा कब और कैसे होगा?
- हिन्दी मुफ्ती : मुहम्मद बिन सालेह अल-उसैमीन अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह संशोधन : शफीक़ुर्रहमान ज़ियाउल्लाह मदनी प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
नमाज़ क़स्र करने और रोज़ा तोड़ने के संबंध में यात्रा के क्या अहकाम हैं?
- हिन्दी मुफ्ती : मुहम्मद बिन सालेह अल-उसैमीन अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह संशोधन : शफीक़ुर्रहमान ज़ियाउल्लाह मदनी प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
क्या रमज़ान के दिन में हराम बातें करने से मनुष्य का रोज़ा फासिद हो जाता है?
- हिन्दी मुफ्ती : मुहम्मद बिन सालेह अल-उसैमीन अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह संशोधन : शफीक़ुर्रहमान ज़ियाउल्लाह मदनी प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
एक आदमी रात के समय अब्हा से मक्का आया, सुबह के समय शैतान ने उसके दिल में वस्वसा डाल दिया और उस ने अपनी पत्नी से सम्भोग कर लिया तो उसका क्या हुक्म है?
- हिन्दी मुफ्ती : मुहम्मद बिन सालेह अल-उसैमीन अनुवाद : अताउर्रहमान ज़ियाउल्लाह संशोधन : शफीक़ुर्रहमान ज़ियाउल्लाह मदनी प्रकाशक : इस्लामी आमन्त्रण एंव निर्देश कार्यालय रब्वा, रियाज़, सऊदी अरब
क्या आदमी के लिए अज़ान के बाद खाना पीना जाईज़ है?